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7 दिसंबर से शुभ समय शुरू, ऐसे लाभ दिलाएंगे उदित गुरु

07-12-2018





गुरु महाराज बीते करीब एक महीने से वृश्चिक राशि में अस्त होकर चलते हुए 7 दिसंबर शुक्रवार को उदित हो रहे हैं। गुरु के उदय होने के साथ ही शुभ कार्यों का आयोजन, विवाह कार्य, ग्रह प्रवेश, नामकरण इत्यादि कार्यक्रम होने शुरू हो जाएंगे। गुरु को ज्योतिषशास्त्र में धर्म, सुख और धन का कारक माना गया है। इनकी शुभ स्थिति होने पर हर तरह से आनंद की प्राप्ति होती है। शुक्रवार 7 दिसंबर के दिन गुरु का उदित होना शुभ फलदायी माना जा रहा है। मंगल की राशि में सूर्य, बुध और चंद्रमा के संयोग में उदित हो रहे गुरु मंगलकारी रहेंगे। गुरु की शुभ स्थिति का लाभ आप किस तरह उठा सकते हैं आइए जानें…

पहले जानें गुरु आपके लिए कितने शुभ हैं

ज्योतिषशास्त्र के अनुसार जब किसी व्यक्ति की कुंडली में गुरु की स्थिति ठीक नहीं होती तो उसके जीवन में कई ऐसी घटनाएं घटती हैं, जो इस तरफ इशारा करती हैं कि उसे गुरु से जुड़े उपाय करने चाहिए।

 
यहां से बाल झड़ने लगे तो

कम उम्र में ही जिस व्यक्ति के खोपड़ी के बीचोंबीच या चोटी बनाने के स्थान से बाल झड़ने लगे हैं तो यह कुंडली में गुरु की खराब स्थिति होने का संकेत होता है।

अफवाहों से होते हैं परेशान

जिस व्यक्ति की कुंडली मैं बैठा गुरु उसका साथ न दे रहा हो, ऐसे व्यक्ति के बारे में अफवाहें बहुत फैलती हैं। लोग उसके बारे में क्या-क्या बातें बनाकर बोलने लगते हैं  à¤‰à¤¸ व्यक्ति को कुछ पता ही नहीं होता कि आखिर हुआ क्या है!

मुसीबत में रह जाता है अकेला

कुंडली में गुरु की स्थिति खराब होने पर परेशानी के समय में व्यक्ति अकेला रह जाता है। उसका अपना परिवार और नजदीकी लोग भी उसका साथ छोड़ देते हैं।

इस तरह रोग करते हैं परेशान

खराब गुरु सेहत को भी प्रभावित करता है। यदि गुरु अनुकूल न हो तो व्यक्ति को पाचन तंत्र से जुड़ी दिक्कतें अक्सर होती रहती हैं। वह शारीरिक रूप से खुद को कमजोर महसूस करता है। कमर के नीचे के हिस्से में दर्द रहता है, साथ ही कफ से जुड़ी दिक्कतें होती रहती हैं। किडनी की समस्या भी हो सकती है। ऐसा व्यक्ति बहुत दुबला या मोटा हो सकता है।

आती है सबसे अधिक परेशानी

जिस व्यक्ति की कुंडली में गुरु प्रतिकूल प्रभाव दे रहा होता है, उस व्यक्ति की कुंडली में जब राहु और केतु की दशा आती है तो उनकी परेशानियां कई गुना बढ़ जाती हैं। साथ ही प्रतिकूल गुरु स्वयं की दशा आने पर भी व्यक्ति को हर तरफ से परेशान करता है।

गुरु को अनुकूल करने के उपाय

जीवन में स्थायित्व और सफलता के लिए गुरु का ठीक होना जरूरी है। इसके लिए कुछ आसान से उपाय करके प्रतिकूल गुरु को अनुकूल बना सकते हैं। गुरु अब उदित हो रहे हैं ऐसे में गुरु को अनुकूल बनाना अधिक फायदेमंद होगा।

तांबा मिट्टी में दबाएं

हर मंगलवार को छोटा-सा तांबा किसी वीरान जगह पर दबा दें। ऐसा आपको जीवनभर करना होगा। इसके लिए आप तांबे के तार का टुकड़ा भी प्रयोग कर सकते हैं।

गुरु बनाएं और उन्हें सम्मान दें

हर व्यक्ति को अपने जीवन में गुरु जरूर बनाना चाहिए। गुरु बनाने के बाद उनकी पूजा-अर्चना करें और उन्हें सम्मान दें। ऐसा करना जरूरी है। आप चाहें तो किसी देवता को भी अपना गुरु बना सकते हैं। पूरे मन से उनका सम्मान करें।

गजानन की शरण में जाएं

गुरु का आशीर्वाद प्राप्त करना है तो गणेशजी का पूजन करें। अथर्वशीर्ष का पाठ करें या ‘ऊं गं गणपतये नम:’ मंत्र का हर दिन जप करें। ज्यादा संभव न हो तो हर दिन देसी घी का दीपक जलाकर गणेशजी की आरती करें। गणेशजी को दूर्वा चढ़ाएं।

इन्हें सिरहाने रखकर सोएं

सफेद और चिकना पत्थर या चांदी की कोई बॉल सोते समय अपने बिस्तर पर सिरहाने की तरफ रखें। यह कार्य आपको सदैव करना चाहिए।

तिजोरी में रखें इस तरह पैसा

सरकार से मिला हुआ पैसा अपनी तिजोरी में रखें। यह पैसा किसी निवेश का रिफंड का भी हो सकता है या आपके पीएफ का ही कुछ अंश हो सकता है। जब यह धन मिले तो इसका कुछ हिस्सा घर की तिजोरी में सदा के लिए रख दें। अपनी सैलरी से कुछ पैसा निकालकर भी तिजोरी में जमा पूंजी के तौर पर रखें।

बुजुर्गों के नाम से करें दान

अपने बुजुर्गों या पूर्वजों के नाम से गुरुवार को दान करिए। कोई भी वस्त्र या वस्तु हर गुरुवार को किसी बुजुर्ग या विद्वान व्यक्ति को बताकर दें कि यह मैंने उनके नाम पर खरीदा है। आप चाहें तो मंदिर में पुजारी जी को भी दे सकते हैं।

 
पीपल का वृक्ष लगाएं

किसी गार्डन में पीपल के वृक्ष लगाएं और उन्हें समय-समय पर पानी से सींचें। ऐसा करने से आपको सभी देवताओं की कृपा प्राप्त होती रहेगी।
 
 

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