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जान लें, किस दिन कर्ज लेना या देना होता है हानिकारक

25-06-2018




आवश्यकता होने पर किसी से उधार लेना या किसी की जरूरत के समय उसे उधार देने का चलन समाज में है।


हर मध्यमवर्गीय व्यक्ति को कभी न कभी कर्ज लेने की जरूरत आन पड़ती है। आवश्यकता होने पर किसी से उधार लेना या किसी की जरूरत के समय उसे उधार देने का चलन समाज में है। समाज में ही हमें ऐसे समाचार भी देखने को मिलते हैं जबकि ब्याज पर पैसा लेने वाले कई व्यापारियों ने सूदखोरों से तंग आकर अपनी जान दे दी। वास्तव में ऋण लेना और देना दोनों ही काफी जोखिम के काम हैं। कर्ज लेना किसी को अच्छा नहीं लगता, लेकिन हर व्यक्ति की आर्थिक स्थिति इतनी मजबूत नहीं होती कि वह अपनी हर जरूरत के लिए रुपयों का प्रबंध कर सके।

इसीलिए जरूरतों के लिए कर्ज लेने की परंपरा रही है। जो लोग सक्षम हैं, उनसे कर्ज लेना अब पुरानी बात हो गई। आजकल बैंक सबसे अच्छा विकल्प बन गया है। मगर कर्ज लेते समय भी ग्रह-नक्षत्रों की दशा का ध्यान रखना आवश्यक है। कुछ ऐसे ग्रह-नक्षत्र होते हैं, जिनमें पैसा लेना और देना दोनों नुकसानदायक हैं। कर्ज के लेन-देन में वार का विशेष महत्व होता है। यदि व्यक्ति को किसी कारणवश कर्ज लेना पड़े तो वार देखकर लेना हितकर रहेगा। कुछ दिन और समय तो ऐसे होते हैं जब धन का आदान-प्रदान किया जाए तो उनके वापस मिलने की संभावना खत्म हो जाती है।


ऋण लेन-देन से पहले इन बातों का विशेष ध्यान रखिए

- सोमवार कर्ज के लेन-देन के हिसाब से काफी शुभ माना गया है। इस वार की अधिष्ठाता साक्षात माता पार्वती को माना गया है। यह चर संज्ञक और शुभ वार है। इस वार को किसी भी प्रकार का कर्ज लेने-देने में हानि नहीं होती है।

- मंगलवार को कर्ज लेने से धन की हानि होती है और आर्थिक अभावों से गुजरना पड़ता है। इस दिन लिया गया उधार दिन-प्रतिदिन बढ़ता रहता है लेकिन चुकाया गया कर्ज शुभता लेकर आता है। इस वार के अधिष्ठाता कार्तिकेय हैं, जिन्हें काफी उग्र एवं क्रूर माना जाता है। इस वार को कर्ज लेना शास्त्रों में निषेध बताया गया है। इस दिन कर्ज लेने के बजाए पुराना कर्ज हो तो चुका देना चाहिए।

- बुधवार का दिन राजकुमार बुध को समर्पित है। जिनके शुभ और अशुभ प्रभाव से व्यापार और धन प्रभावित होता है। इस दिन कर्ज और उधार देने वाले व्यक्ति का कभी मंगल नहीं हो सकता। बुधवार के देवता विष्णु हैं और यह मिश्र संज्ञक शुभ वार है। इस वार को ज्योतिष की भाषा में नपुंसक वार माना गया है। यह गणेशजी का भी वार है इसलिए इस दिन कर्ज लेने से बचना चाहिए। यदि कर्ज से छुटकारा नहीं हो रहा हो तो प्रत्येक बुधवार को गणेशजी के सम्मुख तीन बार 'ऋणहर्ता गणेश स्तोत्र' का पाठ करें और यथाशक्ति पूजन करें।

- गुरुवार का देवता ब्रह्मा को माना गया है इसलिए दिन को लघु संज्ञक शुभ वार माना जाता है। गुरुवार को किसी को भी कर्ज नहीं देना चाहिए, लेकिन इस दिन कर्ज लेने से कर्ज जल्दी उतरता है।

- शुक्रवार का अधिष्ठाता देवराज इन्द्र को माना गया है। यह मृदु संज्ञक और सौम्य वार है, जो कर्ज लेने और कर्ज देने दोनों के लिए शुभ माना जाता है।

- शनिवार को लिया गया उधार जल्दी चुकता हो जाता है। शनिवार के अधिष्ठाता देव साक्षात काल हैं। यह दारुण संज्ञक क्रूर वार है। स्थिर कार्य करने के लिए ठीक है, परंतु कर्ज के लेन-देन के लिए ठीक नहीं है। इस दिन कर्ज लेने से कर्ज विलंब से चुकता है और कई प्रकार की कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है।

- रविवार को सप्ताह का आरंभ होता है और यह दिन ऋणहर्ता भगवान सूर्य नारायण को समर्पित है। इस दिन पैसों का लेन-देन करना अशुभ होता है। उधार चुकाने में बहुत सारी समस्याएं आती हैं। रविवार के देवता भगवान शिव हैं। इस वार को स्थिर संज्ञक और क्रूर वार भी माना जाता है। रविवार को न तो कर्ज देना चाहिए और न ही लेना चाहिए।


ऋण बढ़ता चला जाता है

- सूर्य के राशि परिवर्तन यानी संक्रांति को पैसे के लेन-देन से बचना चाहिए।

- चर लग्न जैसे-मेष, कर्क, तुला व मकर में कर्ज लेने पर कर्ज शीघ्र उतर जाता है। लेकिन, चर लग्न में कर्जा दें नहीं। चर लग्न में पांचवें व नौवें स्थान में शुभ ग्रह व आठवें स्थान में कोई भी ग्रह नहीं हो, वरना ऋण पर ऋण चढ़ता चला जाएगा।

- भूलकर भी हस्त नक्षत्र में कर्ज न लें लेकिन चुकाना समृद्धि और सौभाग्य लाता है। किसी भी महीने की कृष्ण पक्ष की 1 तिथि, शुक्ल पक्ष की 2, 3, 4, 6, 7, 8, 10, 11, 12, 13, पूर्णिमा व मंगलवार के दिन उधार दें और बुधवार को कर्ज लें।

- कर्ज लेने जाते समय घर से निकलते वक्त जो स्वर चल रहा हो, उस समय वही पांव बाहर निकालें तो कार्य सिद्धि होती है, परंतु कर्ज देते समय सूर्य स्वर को शुभकारी माना है।

- वृद्धि योग में जो भी काम किया जाए उसमें बढ़ोतरी होती है। कर्ज लेने से बढ़ता है और चुकाने पर स्वयं के धन में देवी लक्ष्मी कृपा करती हैं।


कर्ज से मुक्ति के उपाय

शास्त्रों और प्राचीन मान्यताओं के अनुसार कर्ज लेने व देने संबंधी कुछ आसान उपाय इस प्रकार हैं। इन पर अमल करने पर निश्चित ही आपका कर्ज, बिल्कुल समय से सुविधानुसार आपके सिर से उतर जाएगा।

ऋण मुक्ति के लिए इन मंत्रों को जपें

- ऊं ऋण-मुक्तेश्वर महादेवाय नम:

- ऊं मंगलमूर्तये नम:।

- ऊं गं ऋणहर्तायै नम:।

इनमे से किसी भी मन्त्र के नित्य कम से कम एक माला के जप से व्यक्ति को अति शीघ्र कर्जे से मुक्ति मिलती है।


अपनाएं ये उपाय

- सरसों का तेल मिट्टी के दीये में भरकर, फिर मिट्टी के दीये का ढक्कन लगाकर किसी नदी या तालाब के किनारे शनिवार के दिन सूर्यास्त के समय जमीन में गाड़ देने से कर्ज मुक्ति हो सकती है।

- बुधवार को स्नान पूजा के बाद व्यक्ति सर्वप्रथम गाय को हरा चारा खिलाए उसके बाद ही खुद कुछ ग्रहण करे तो उसे शीघ्र ही कर्जे से छुटकारा मिल जाता है।

- शनिवार के दिन सुबह स्नान करने के बाद अपनी लंबाई के बराबर काला धागा लेकर उसे एक नारियल के ऊपर लपेट लें। फिर अपनी नियमित पूजा के साथ इसका भी पूजन करें, पूजा के बाद इस नारियल को भगवान से ऋण मुक्ति के लिए प्रार्थना करते हुए बहते हुए जल में प्रवाहित कर दें। इस छोटे से उपाय से आपको अपनी मेहनत के श्रेष्ठ फल मिलने के योग बनेंगे और आप के ऊपर शीघ्र ही कर्ज का भार कम होने लगेगा

- मंगलवार को शिव मंदिर में जाकर शिवलिंग पर मसूर की दाल 'ऊं ऋण-मुक्तेश्वर महादेवाय नम:" मंत्र बोलते हुए चढ़ाएं।

- उज्जैन (मध्यप्रदेश) स्थित अंगारेश्वर महादेव पर विशेष ऋण मुक्ति पूजन-अभिषेक करवाएं।

- सर्व-सिद्धि-बीसा-यंत्र धारण करने से सफलता मिलती है।

- घर की चौखट पर अभिमंत्रित काले घोड़े की नाल शनिवार के दिन लगाएं।

- बुधवार को सवा पाव मूंग उबालकर घी-शक्कर मिलाकर गाय को खिलाने से शीघ्र कर्ज से मुक्ति मिलती है।

- हनुमानजी के चरणों में मंगलवार व शनिवार के दिन तेल-सिंदूर चढ़ाएं। हनुमान चालीसा या बजरंगबाण का पाठ करें।